Here is a small poem by Surya Kumar Pandey that should certainly entice little children. Illustration is mine. Rajiv Krishna Saxena बिल्ली मौसी चलीं बनारस बिल्ली मौसी चलीं बनारस लेकर झोला डंडा गंगा तट पर मिला उसे तब मोटा चूहा पंडा चूहा बोला बिल्ली मौसी चलो करा दूँ पूजा मुझ …
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